शनिवार को सुबह ही खबर मिली कि सुभाष का देहान्त हो गया है आज अस्थिचयन है।
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विगत आलेख में मृत व्यक्ति के अस्थिचयन की घटना के विवरण पर अनेक प्रतिक्रियाएँ प्राप्त हुईं।
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विगत आलेख में मृत व्यक्ति के अस्थिचयन की घटना के विवरण पर अनेक प्रतिक्रियाएँ प्राप्त हुईं।
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शनिवार को सुबह ही खबर मिली कि सुभाष का देहान्त हो गया है आज अस्थिचयन है।
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अस्थिचयन के उपरांत मृतात्मा को भोग की जो परंपरा है उसे निभाने में किसी को कोई आपत्ति नहीं, वह किसी एक व्यक्ति द्वारा संपन्न कर दी जाती है जो मृतक का “लीनियन एसेंडेंट” हो।
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अस्थिचयन के उपरांत मृतात्मा को भोग की जो परंपरा है उसे निभाने में किसी को कोई आपत्ति नहीं, वह किसी एक व्यक्ति द्वारा संपन्न कर दी जाती है जो मृतक का “ लीनियन एसेंडेंट ” हो।
7.
आत् मा का शरीर त् याग के बाद शवदाह, शवयात्रा, अस्थिचयन, प्रवाह, पिण् डदान श्राद्ध, बह्मभोज आदि शरीरान् त के पश्चात ऐसे किये जाने वाले अनिवार्य कर्म है, जिनकी पूर्ति के बिना आत् मा की शान्ति सम् भव नही है।
8.
* बाटी सेक्या! = [यह हमारे हाड़ौती की एक गाली है, जो उन लोगों को इंगित करती है जो किसी के मृत्यु की कामना करते हुए उस के तीसरे (अस्थिचयन) के दिन बाटी सेक कर खाने की कामना करते रहते हैं]