| 21. | यजुर्वेद में शिखा को इंद्रयोनि कहा गया है।
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| 22. | यजुर्वेद को मुख्यरूप से कर्मकाण्डपरक माना जाता है।
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| 23. | यजुर्वेद के हर अध्याय में इसका विवरण है।
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| 24. | भिक्षुक ( ६०) = शुक्ल यजुर्वेद, संन्यास उपिनषद्
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| 25. | यजुर्वेद की शुक्ल और कृष्ण दो शाखाएं हैं।
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| 26. | अनंत रुद्र- यजुर्वेद में शतरूप्रिय नामक स्तुति है।
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| 27. | यजुर्वेद में शिव को शांतिदाता बताया गया है।
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| 28. | यजुर्वेद ' कर्म ' विवेचन करने वाला है।
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| 29. | स्कन्द ( त्िरपाड्िवभूिट) = कृष्ण यजुर्वेद, सामान्य उपिनषद्
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| 30. | कठोपनिष्द - कठोपनिष्द कृष्ण यजुर्वेद से सम्बन्धित है।
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