| 31. | बो मेह तरसै , मैं रोटी नै,है दोन्यां रो सुखो मूंडो.......
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| 32. | धूप में बरसते मेह के आर पार
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| 33. | लू लपट ठंड मेह , सै सवै दांत भींच,
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| 34. | मानों हर तरफ मेह बरस रहा है .
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| 35. | इस मेह हर तरह की जानकारी है .
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| 36. | बरस जाओ बन मेह नेह का तुम ,
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| 37. | पानी गिरा कर मेह के रूप मेंसुंदर भाव !
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| 38. | मेह उन पर है बरसता एक सा ,
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| 39. | पड़ोसीके यहां मेह बरसेगा तो बूंदें यहां भी गिरेंगी
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| 40. | झिरमिर झिरमिर बरसिया , पाहन ऊपर मेह ।
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