अनुराधा कपूर, नादिरा ज़हीर बब्बर, यशपाल शर्मा, सीमा विश्वास, सुमन वैद्य जैसे रंगकर्मी और महेश आनंद, हृषिकेश सुलभ जैसे आलोचक इस समारोह में उपस्थित थे और नाटकों के लिये दर्शकों की उत्सुकता और अनुशासन देख कर अभिभूत थे. ऐसे दर्शकों पर अभिभूत होना ही चाहिये.