| 11. | सृष्टि की शुरूआत आवरण से-अव्यय पुरूष रूप।
|
| 12. | अव्यय वाक् से यह सृष्टि पैदा होती है।
|
| 13. | हॉ हॉह*सी सूचक अव्यय या ह*सी का शब्द
|
| 14. | अव्यय ही चिति के द्वारा मन-प्राण-वाक् बनता है।
|
| 15. | अतः अव्यय और उपसर्ग में अंतर को समझें।
|
| 16. | आनन्द अव्यय (कृष्ण) पुरूष की प्रथम कला है।
|
| 17. | (तस्वीर कुमार अव्यय के कैमरे से)
|
| 18. | अव्यय अजन्मा नित्य अविनाशी इसे जो जानता.
|
| 19. | वह अव्यय हो उसे अव्ययीभाव समास कहते हैं।
|
| 20. | अविनाशी अव्यय ज्योतिमय के, न्याय पूर्ण विधान हैं।
|