धन कमाकर ब्राह्मण जब लौटा, तब ब्राह्मणी ने उस धन को अपने उपपति को दे दिया (सत्तुभस्त जातक, ४०२).
12.
उपपति को कोई स्त्री कभी भी बहिष्कृत कर देती है, उसे भृत्य जितने ही अधिकार प्राप्त होते हैं ।
13.
धन कमाकर ब्राह्मण जब लौटा, तब ब्राह्मणी ने उस धन को अपने उपपति को दे दिया (सत्तुभस्त जातक, ४०२).
14.
हमारी सभाओं के पति या उपपति (गुस्ताखी माफ़, उपसभापति से मुराद है) हो जावें किन्तु प्रधान या उपप्रधान नहीं कहा सकते।
15.
धन कमाकर ब्राह्मण जब लौटा, तब ब्राह्मणी ने उस धन को अपने उपपति को दे दिया (सत्तुभस्त जातक, ४ ० २).
16.
और कोई उपाय न देख अपने किरण-समूह को कपडे लत्ते के सदृश छोड़ उपपति के समान गर्दन झुकाकर वह पश्चिम-दिशारूपी खिड़क़ी के रास्ते निकल भागा।
17.
और कोई उपाय न देख अपने किरण-समूह को कपडे लत्ते के सदृश छोड़ उपपति के समान गर्दन झुकाकर वह पश्चिम-दिशारूपी खिड़क़ी के रास्ते निकल भागा।
18.
उपपत्नी-उपपति तो ठीक हैं, वहाँ दर्जा प्रमुख और गौण होने का है पर पत्नी और धर्म पत्नी! यह रहस्य मैं नहीं समझ पाई आज तक
19.
‘ परकीया माधुर्य-रति ' में अपनी पत्नीसे भिन्न स्त्री (परनारी) के सम्बन्धका और अपने पतिसे भिन्न पुरुष (परपुरुष या उपपति) के सम्बन्धका भाव रहता है ।
20.
प्रस्तुत उदाहरण में अपने उपपति के साथ सहवास के उपरान्त उत्पन्न थकान को मिटाने के लिए स्नान करने आयी हुई एक नायिका से उसकी सखी की उक्ति है, जो उसके चोरी से किए रति के रहस्य को समझ चुकी है-