| 11. | अपने पारिवारिक धन सम्पदा को देख कर घमण्ड करना यह जाति मद कहलाता है।
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| 12. | और सब प्रकार का घमण्ड करना-सभी उल्लास-क्रूस में घमण्ड करना है।
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| 13. | और सब प्रकार का घमण्ड करना-सभी उल्लास-क्रूस में घमण्ड करना है।
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| 14. | अतः इन्सान को न तो कभी घमण्ड करना चाहिए और न ही कभी हीनभावना का शिकार होना चाहिए।
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| 15. | जब हम क्रूस पर होते हैं तब हम क्रूस पर घमण्ड करना और क्रूस पर उल्लासित होना सीखते हैं।
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| 16. | उसका अर्थ यह है कि, एक मसीही के लिए, सभी अन्य घमण्ड, क्रूस में घमण्ड करना भी होना चाहिए।
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| 17. | यही हालत दुनिया की क्षण भर ज़िन्दगी की हे, उसपर घमण्ड करना या मर मिटना अक़्ल का काम नहीं.
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| 18. | योजना बनाना बुरा नहीं है लेकिन घमण्ड करना और घमण्ड में आकर योजनाओं मे परमेश्वर को ना रखना बुरा है, पाप है।
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| 19. | यदि आप अपनी दुर्बलताओं में घमण्ड करते हैं, या परमेश्वर के लोगों में, तो आपको मसीह के क्रूस में घमण्ड करना चाहिए।
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| 20. | तो घमण्ड करना कहाँ रहा? उस की तो जगह ही नहीं: कौन सी व्यवस्था के कारण से? क्या कर्मों की व्यवस्था से?
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