| 11. | वायुनाल और प्रणलिकाओं की पेशियों में परानुकंपी के सूत्र मस्तिष्क से आते हैं।
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| 12. | परानुकंपी विन्यास इन ग्रंथियों से लार का प्रवाह बढ़ाने के कार्य करता है.
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| 13. | वायुनाल और प्रणलिकाओं की पेशियों में परानुकंपी के सूत्र मस्तिष्क से आते हैं।
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| 14. | इससे नेत्र का तारा प्रभावित होता है, परानुकंपी से संकुचित होता है।
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| 15. | वायुनाल और प्रणलिकाओं की पेशियों में परानुकंपी के सूत्र मस्तिष्क से आते हैं।
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| 16. | इसके भी दो विभाग हैं, एक अनुकंपी (sympathetic) और दूसरा परानुकंपी (parasympathetic) ।
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| 17. | रक्तवाहनियाँ अनुकंपी की क्रिया से संकुचित होती हैं और परानुकंपी से विस्तृत होती हैं।
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| 18. | रक्तवाहनियाँ अनुकंपी की क्रिया से संकुचित होती हैं और परानुकंपी से विस्तृत होती हैं।
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| 19. | रक्तवाहनियाँ अनुकंपी की क्रिया से संकुचित होती हैं और परानुकंपी से विस्तृत होती हैं।
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| 20. | यकृत की अनुंपी (sympathetic) तथा परानुकंपी (parasympathetic) तंत्रिकाएँ सीलक जाती तथा वेगस तंत्रिका से आती हैं।
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