AMखुशदीप जी मैं आपका आभारी हूँ की आपने मेरे जीवन के असल उद्देश्य इस देश में सही मायने में प्रजातंत्रीकरण तथा मैं भी अगर गुनाह करूं तो मुझे भी कोई रोकने-टोकने वाला हो साथ में सजा भी हो के लिए समर्पित इस आन्दोलन को हार्दिक समर्थन दिया है | ऐसे समर्थन से अच्छे प्रयासों को एक मुकाम मिलने की उम्मीद कई गुना बढ़ जाती है....मैं आज
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उन्होने कहा कि अन्ना हजारे की आन्दोलन में मीडिया ने कोई बड़ा काम नहीं बल्कि अपना धंधा चमकाया है. ये बहुत पुरानी बात हो गयी है.नई बात तो ये है कि सूचना का प्रजातंत्रीकरण हो गया हैं.इस नए मीडिया युग में आप देखेंगे कि कुछ मीडिया हाउस घरानों को तो खरीदा जा सकेगा मगर तब न्यू मीडिया की उपज इन ब्लॉग लिखने वाले लाखों कलमकारों को खरीद सकना मुमकिन नहीं होगा ।