उदाहरण के लिए रोम साम्राज्य के विधान में हम पैट्रीशियन (उच्च वर्ग) एवं प्लीबियन (जनसाधारण) तथा रोमन नागरिक एवं पेरेग्रिनस (विजित देश के निवासी) के अधिकारों में अंतर पाते हैं।
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प्रत्येक क्षण एक रोमन नागरिक तथा एक पुरुष होने के नाते जो कार्य सामने है उसको पूरी चेष्टा के साथ समझदारी, लगन, दया एवं न्याय से करो और साथ ही साथ अन्य किसी भी विचार से पीछा छुड़ा लो.
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वास्तव में आज सरकारी स्कूली शिक्षा मात्र कम्मुनिस्ट इतिहासकारों, चिन्तक-लेखको और विदेश प्रशिक्षित अन्वेषकों की प्रयोगशालाएं बन गयी हैं जो या तो भारतीयों को रशियन, चीनी या फिर रोमन नागरिक बनाने पर तुली हुई हैं या फिर अभारतीय अरबी निष्ठावा न.
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हामिद अंसारी ने कहा कि मानव समाज में पुस् तकालयों की महत् ता को रोमन नागरिक सिसिरोव के इस कथन से बेहतर ढंग से समझा जा सकता है कि एक घर में पुस् तकालय का निर्माण उस घर को आत् मा प्रदान करना है।