ऐसे मानक की प्रारंभिक अर्हता यह है कि उसके द्वारा उत्सर्जित प्रकाश स्थिर हो अथवा अत्यल्प परिवर्तनशील हो तथा जिन प्रकाशस्रोतों की तुलना के लिये उसका प्रयोग किया जा रहा है उनके स्पेक्ट्रमी वितरण (
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1. स्पेक्ट्रमी रासायनिक विश्लेषण: आर्क या स्फुलिंग द्वारा किसी पदार्थ को उत्तेजित करके उसके स्पेक्ट्रम द्वारा यह जाना जा सकता है कि उक्त पदार्थ किन-किन तत्वों से बना है तथा इसमें उनका अनुपात क्या है।
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स्पेक्ट्रमी ज्योतिर्मिति या स्पेक्ट्रोफोटोमीट्री (Spectrophotometry) ¾ इस प्रकार की ज्योतिर्मिति प्रकाश के केवल एक अत्यंत लघु तरंग दैर्ध्य विस्तार (range of wavelength) का प्रयोग करके विभिन्न तरंगदैर्ध्य विस्तारों में किसी विचारणीय तारे के कांतिमानों का अध्ययन किया जाता है।
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1900 ई. के प्लैक के विकिरण नियम परमाणु ऊर्जास्तर की मान्यता आयनन विभव (ionisation potential) एवं विस्तृत प्रयोगशाला और परमाणु स्पेक्ट्रमी (atomic spectra) के सैद्धांतिक अन्वेषण से तारों की भौतिक दशा और उनके संघटन का परिणात्मक अध्ययन संभव हो सका है।
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स्पेक्ट्रमी ज्योतिर्मिति या स्पेक्ट्रोफोटोमीट्री (Spectrophotometry) ¾ इस प्रकार की ज्योतिर्मिति प्रकाश के केवल एक अत्यंत लघु तरंग दैर्ध्य विस्तार (range of wavelength) का प्रयोग करके विभिन्न तरंगदैर्ध्य विस्तारों में किसी विचारणीय तारे के कांतिमानों का अध्ययन किया जाता है।
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ऐसे मानक की प्रारंभिक अर्हता यह है कि उसके द्वारा उत्सर्जित प्रकाश स्थिर हो अथवा अत्यल्प परिवर्तनशील हो तथा जिन प्रकाशस्रोतों की तुलना के लिये उसका प्रयोग किया जा रहा है उनके स्पेक्ट्रमी वितरण (spectral distribution) की सन्निकटस्थ सीमा तक उसका भी स्पेक्ट्रमी वितरण हो।
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ऐसे मानक की प्रारंभिक अर्हता यह है कि उसके द्वारा उत्सर्जित प्रकाश स्थिर हो अथवा अत्यल्प परिवर्तनशील हो तथा जिन प्रकाशस्रोतों की तुलना के लिये उसका प्रयोग किया जा रहा है उनके स्पेक्ट्रमी वितरण (spectral distribution) की सन्निकटस्थ सीमा तक उसका भी स्पेक्ट्रमी वितरण हो।
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ऐसे मानक की प्रारंभिक अर्हता यह है कि उसके द्वारा उत्सर्जित प्रकाश स्थिर हो अथवा अत्यल्प परिवर्तनशील हो तथा जिन प्रकाशस्रोतों की तुलना के लिये उसका प्रयोग किया जा रहा है उनके स्पेक्ट्रमी वितरण (spectral distribution) की सन्निकटस्थ सीमा तक उसका भी स्पेक्ट्रमी वितरण हो।
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ऐसे मानक की प्रारंभिक अर्हता यह है कि उसके द्वारा उत्सर्जित प्रकाश स्थिर हो अथवा अत्यल्प परिवर्तनशील हो तथा जिन प्रकाशस्रोतों की तुलना के लिये उसका प्रयोग किया जा रहा है उनके स्पेक्ट्रमी वितरण (spectral distribution) की सन्निकटस्थ सीमा तक उसका भी स्पेक्ट्रमी वितरण हो।
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इधर हाल ही में कुछ अन्य केंद्रकीय (nuclear) अभिलेखन प्रविधियों, जैसे घनत्व, क्लोरीन, स्पेक्ट्रमी गामा, बंदी (captive) गामा, द्वारा प्रेरित (gated induced) गामा, सक्रियकरण (activation) ट्रेसर (tracer) और केंद्रकीय चुंबकत्व अभिलेखन का विकास हुआ है।