एक-एक मुट्ठी काजू, किशमिश, चिनिया बादाम, अरब देश का पिन-खजूर, भरा गुच्छा अंगूर, पूरा सेव, चिनिया केला, मुंगबा लड्डू, रसकदम, सन्देश, गुलाबजामुन और ऊपर से ढपसा सिंघारा (समोसा) और दालमोट.... महराज बूझिये कि भोजने हो गया।
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अराफ़ात पहले ऐसा नेता थे जिन्होने फ़तह को अन्य फ़िलीस्तीनी गुटों / संगठनो की तरह किसी भी अरब देश का पिछलग्गू बनने से इंकार कर दिया और फ़िलीस्तीन की मुक्ति को खास फ़िलीस्तीनी संदर्भ में देखा, आम अरब संदर्भ में नहीं।
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अराफ़ात पहले ऐसा नेता थे जिन्होने फ़तह को अन्य फ़िलीस्तीनी गुटों / संगठनो की तरह किसी भी अरब देश का पिछलग्गू बनने से इंकार कर दिया और फ़िलीस्तीन की मुक्ति को खास फ़िलीस्तीनी संदर्भ में देखा, आम अरब संदर्भ में नहीं।
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अरब देश का भारत, भृगु के पुत्र शुक्राचार्य तथा उनके पोत्र और्व से ऐतिहासिक संबंध प्रमाणित है, यहाँ तक कि “हिस्ट्री ऑफ पर्शिया” के लेखक साइक्स का मत है कि अरब का नाम और्व के ही नाम पर पड़ा, जो विकृत होकर “अरब” हो गया।
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अरब की प्राचीन समृद्ध वैदिक संस्कृति और भारत अरब देश का भारत, भृगु के पुत्र शुक्राचार्य तथा उनके पोत्र और्व से ऐतिहासिक संबंध प्रमाणित है, यहाँ तक कि “हिस्ट्री ऑफ पर्शिया” के लेखक साइक्स का मत है कि अरब का नाम और्व के ही नाम पर पड़ा, जो विकृत होकर “अरब” हो गया।
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अरब की प्राचीन समृद्ध वैदिक संस्कृति और भारत अरब देश का भारत, भृगु के पुत्र शुक्राचार्य तथा उनके पोत्र और्व से ऐतिहासिक संबंध प्रमाणित है, यहाँ तक कि “ हिस्ट्री ऑफ पर्शिया ” के लेखक साइक्स का मत है कि अरब का नाम और्व के ही नाम पर पड़ा, जो विकृत होकर “ अरब ” हो गया।
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स्पेन और पुर्तुगाल पर जब मुस्लिम सत्ता थी तब उन ८ ०० वर्षों में स्पनिश भाषा में अनगिनत अरबी शब्द घुस गए! जीन स्पनिश लोगों को मुस्लिम बनाया गया वो ना तो अरब बन सके ना तो पुरे स्पनिश! खिचड़ी बन गई! इन स्पनिश मुस्लिमो की भाषा थी स्पनिश! चुकी इस्लाम अरब देश का वर्चस्व है!
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युद्ध और संधि और अन्तर्राष्ट्रीय संबंध की सभ्यता जिस व्यक्ति ने व्यावहारिक रूप से संसार में स्थापित की वह वास्तव में यही अरब देश का महान पुरुष है, नहीं तो पहले संसार इससे अनभिज्ञ था कि युद्ध की भी कोई आचार-संहिता हो सकती है और विभिन्न राष्ट्रों में, समान मानवता (Common humankind) के आधार पर भी व्यवहार होना संभव है।
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अर्थात् अरब देश का वह निडर बेड़ा, जिसकी ध्वजा विश्वभर में फहरा चुकी थी, किसी प्रकार का भय जिसका मार्ग न रोक सका था, जो अरब और बलोचिस्तान के मध्य वाली अम्मानामी खाड़ी में भी नहीं रुका था और लालसागर में भी नहीं झिझका था, जिसने सातों समुद्र अपनी ढाल के नीचे कर लिये थे, वह श्रीगंगा जी के दहाने में आकर डूब गया।
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इन सबके बाद भी जब यह सुनने मे आता है कि भारत मे इस्लाम खतरे मे है तो प्रेम कहाँ से पनपेगा? हम तो अपने हिस्से को भी आपके हवाले करते जा रहे हैं और आपकी इच्छाएं हैं कि कभी पूरी ही नही होती, जरा एक बार स्वयं को एक दूसरे देश के नागरिक के रूप मे रख कर सोचिएगा, चाहे अरब देश का नागरिक ही सही फिर कहिएगा कि आप को क्या कम मिल रहा है यहाँ, मैं ओमान और कतर मे काम कर चुका हूँ अतः मैं सत्य जानता हूं।