| 21. | उपायुक्त ने निर्देश दिए कि पशुओं को कृमि रोग से सुरक्षित रखने हेतू पशुओं को कृमिनाशक ईलाज देना भी जरूरी है।
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| 22. | इनमें ं बाझपन के 13 हजार 353 पशुओं व कृमि रोग के एक लाख 57 हजार 655 पशुओं का इलाज किया गया
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| 23. | 4-कृमि रोग अत्याधिक बढ़ जाता है तो व्यक्ति का कोर्इ विशेष अंग कांपने लगता है या दौरे पड़ने लगते हैं।
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| 24. | गोमेद यह वायु शूल, चर्मरोग, कृमि रोग, बवासीर, फाइलेरिया, गर्मी, हैजा आदि में विशेष लाभप्रद है।
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| 25. | 5-चम्पा के फूलों का रस आधा चम्मच की मात्रा श हद मिलाकर चाटने से कृमि रोग में विशेष लाभ होता है।
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| 26. | अपने इन्हीं गुणों के कारण अजवाइन कफ, वायु, पेट का दर्द, वायु गोला, आफरा तथा कृमि रोग को नष्ट करने में समक्ष है।
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| 27. | * कृमि रोग: इसके चूर्ण की चार माशे की मात्रा छाछ के साथ लेने से पेट के कृमि नष्ट हो जाते हैं।
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| 28. | कृमि रोग की चिकित्सा-1-बायबिरंग, नारंगी का सूखा छिलका, चीनी (शक्कर) को समभाग पीसकर रख लें।
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| 29. | वाली, वात विनाशक तथा अतिसार,स्वास,कण्ठ रोग और कृमि रोग नाशक | एवं मल का शोषण करने वाली है | उपर |
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| 30. | अनन्नास के पत्तों के रस में थोड़ा शहद मिलाकर रोज 2 ग्राम से 10 ग्राम तक सेवन करने कृमि रोग नष्ट होता है।
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