तबतक तो फिल्म ही बदल जायेगी!!??? विनोद ने कहा कि: “ चलो पापा से बोलते हैं! ” हम सदर थाना के ऑफिस में जाकर विनोद के पिताजी से मिले उन्होंने मुझे देखकर हर्षयुक्त आश्चर्य प्रकट कर बाबुजी और हमारे परिवार की कुशलता पूछी! मैंने उनके चरण छुए! विनोद ने आग्रह किया कि ये आज ही लौटना चाहता है, सो वे अपना हुक्म दें कि ये रुक जाय, और ट्रंक कॉल से लोहरदगा बाबूजी को सूचना दे दें कि ये लोग अगले सबेरे लोहरदगा पहुंचेंगे!