(क) प्रतिस्थापित ठोस विलयन वे होते हैं, जिनमें एक तत्व के परमाणु दूसरे तत्व के क्रिस्टलीय ढाँचे में उन्हीं स्थानों को ग्रहण करते हैं जहाँ पर उनके पहले दूसरे तत्व के परमाणु स्थित थे।
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(क) प्रतिस्थापित ठोस विलयन वे होते हैं, जिनमें एक तत्व के परमाणु दूसरे तत्व के क्रिस्टलीय ढाँचे में उन्हीं स्थानों को ग्रहण करते हैं जहाँ पर उनके पहले दूसरे तत्व के परमाणु स्थित थे।
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ताँबा-निकल की अनेक मिश्रधातुएँ जिनका महत्वपूर्ण उपयोग है, ठोस विलयन की श्रेणी में आती हैं, उदाहरणार्थ, वे मिश्रधातुएँ जिनसे निकल के सिक्के, राइफल की गोलियों की टोपियाँ और एक तार जिसका वैद्युत प्रतिरोध अधिक होता है, बनता है।
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ताँबा-निकल की अनेक मिश्रधातुएँ जिनका महत्वपूर्ण उपयोग है, ठोस विलयन की श्रेणी में आती हैं, उदाहरणार्थ, वे मिश्रधातुएँ जिनसे निकल के सिक्के, राइफल की गोलियों की टोपियाँ और एक तार जिसका वैद्युत प्रतिरोध अधिक होता है, बनता है।
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ताँबा-निकल की अनेक मिश्रधातुएँ जिनका महत्वपूर्ण उपयोग है, ठोस विलयन की श्रेणी में आती हैं, उदाहरणार्थ, वे मिश्रधातुएँ जिनसे निकल के सिक्के, राइफल की गोलियों की टोपियाँ और एक तार जिसका वैद्युत प्रतिरोध अधिक होता है, बनता है।