| 21. | ” धर्मरूप दशरथ को धन से विरति हुई, तब यज्ञ किया ।
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| 22. | श्रद्धा, क्षमा, दया, विरति, विवेक आदि का पुंज हो।
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| 23. | ” धर्म ते विरति योग ते ज्ञाना, ग्यान मोक्षप्रद वेद बखाना ।
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| 24. | जिस प्रकार रति, बैर और विरति नाम की स्थायी दशाएँ अधिक परिस्फुट होने के
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| 25. | अत: इन्हें (अलोभ आदि को) ' विरति शील ' कहते हैं।
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| 26. | पाठक देख सकते हैं कि विरति या वैराग्य आप से आप मिला हुआ है।
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| 27. | कहं माया संसार है कहां विरति कहं प्रीति कहां जीव है ब्रहम कहं विमल रूपमय जान।।
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| 28. | / करहिं पाप पावहिं दुख, भय रुज सोक वियोग॥ / श्रुतिसम्मति हरिभक्तिपथ, संजुत विरति विवेक।
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| 29. | जी खट्टा होना, मुहावरा विरति होना घर की कलह से उसका जी खट्टा हो गया है।
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| 30. | देवता को विरति यानी दीक्षा लेने एवं व्रत-पचक्खाण करने के भाव-परिणाम नहीं आते और बिना इसके मोक्ष नहीं।
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