वहीं शरी में नमक की कमी की वजह से मांसपेशियों में ऐंठन, पूरी बॉडी में सूजन, सिर का चकराना आदि समस्याएं शुरू हो सकती है और ये आगे चल कर गंभीर स्त्रायु रोग का रूप धारण कर सकती है।
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या वो वर्ग जो इन मुद्दों को नगद करने का कोई मौका नहीं गवाता? [अचानक सामाजिक मूल्यों की दुहाई देकर अपनी छाती पीट रहे समाज का अचानक से आये इस परिवर्तन से वाकई मस्तिष्क का चकराना स्वभाविक है.
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यदि बस की पिछली सीटों पर मुझे न पाओ तो परेशान न होना, मुझे अगली कतार में बैठा पाओगे ' या ‘ तरण-ताल में मुझे गायब पा कर मत चकराना, मिसीसिपी नदी के तट पर आना, मुझे पौड़ता पाओगे ।
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अगर किसी व्यक्ति के शरीर में लौह-तत्व की कमी हो जाती है तो उसे खून की कमी, थकावट सी महसूस होना, त्वचा का रंग बदल जाना, चिड़चिड़ापन, सिर चकराना, दिल की धड़कन तेज होना, शरीर को बार-बार किसी तरह का रोग हो जाना जैसे रोग पैदा हो जाते हैं।
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बताया गया है कि इसके बाद ससुराल पक्ष के लोग चकराना से शनिवार की शाम आदिवासी समाज की परम्पराओं के अनुसार झगडे (निपटारे के एवज में दी जाने वाली राशि) की रकम लेने के लिए निचली खोरी पहुंचे थे जहां इस मामले के निपटारे के लिए देर रात को पंचायत जमा थी और फैसला होने जा रहा था।
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चालू करना छोटि गाड़ी उड़ाना आरम्भ करना प्रवहमान वस्तु प्रवहमान वस्तु तैरने वाला पदार्थ जहाज़ से भेजना तैरना मँडराना प्रचलित करना प्रवाहित करना मस्तिष्क के सामने घूमना बटरफ्लाई तैराकी पानी में डालना चालू करना घूमता प्रतीत होना पहियों पर बना मंच धारा के साथ बहना प्रवहमान रहना प्रचलित करना तैरकर पार करना चकराना कार्यरत्त करना फैलाना प्रचलित होना झाँकी कार्यरत्त करना
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शरीर में खून की कमी के कारण रोगी की शारीरिक शक्ति कम हो जाती है, भूख नहीं लगती, बदहजमी, श्लैष्मिक झिल्लियों में खून का कम हो जाना, सिरदर्द, सांस लेने में परेशानी, हृदय की धड़कन तेज होना, जीभ पर छाले पड़ना, शारीरिक वजन कम होना, सिर चकराना तथा नाड़ी की गति बढ़ जाना आदि लक्षण उत्पन्न होते हैं।
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उड़न तश्तरी, धरती पर आएगी तो चकराना स्वाभाविक है जूता अवश्य आगरा का होगा क्योंकि वहीं से विश्व भर में निर्यात किए जाते हैं पहनने वालियों का आयात निर्यात प्रतिबंधित है आपको अपने शरीर में वो शक्ति विकसित करनी चाहिए जो खतरनाक वस्तुओं से आवश्यक दूरी बनाए नहीं तो ऐसे हादसे होते ही रहेंगे आप कब तक सोते रहेंगे जागिए लाखिए और लिखिए ऐसे किस्सों को सुनने टिप्पणियाने को सब ब्लागर तैयार खड़े हैं।
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अधिक कार्बन डाइऑक्साइड वाले स्थान पर काम करने से होने वाले शारीरिक हानि पर खून में मौजूद लालरक्तकणों रंजक पदार्थ बदल जाता है और प्राणवायु का संचार पूरे शरीर में ठीक से नहीं हो पाता जिसके कारण अनेक प्रकार के लक्षण उत्पन्न होते हैं, जैसे-दम फूलना, सिर चकराना, सिर दर्द होना, बेहोशी आना, हृदय में कंपन होना तथा बिना किसी कारण थकान महसूस होना, पेशियों में ऐंठन सा दर्द होना, शरीर का नीला पड़ जाना और साथ ही नींद का अधिक आना, निराशा व अनिद्रा आदि।