मसलन जितुआ मुख्यचरित्र की जगह दूसरे किसी ऐसे लड़के को भोग लेने की नियत से ले जाता तो हो सकता है वो मुख्यचरित्र की तरह उसकी क्रिस्टल ब्यूटी (नग्न सौन्दर्य कहना सही नहीं होगा), उसकी बेचैनी और विवशता के बीच अपनी दमित इच्छा के बीच आंखमिचौनी खेलने के बजाय खुलकर बचाव में आता.