| 31. | करना ही होता है, किसी वस्तु का बोध या परिज्ञान कराना नहीं।
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| 32. | उन क्रियाविधानों का परिज्ञान हमें अनुमान और चिन्तन द्वारा तथा गर्भ विधान
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| 33. | इस प्रसंग का छोर पकड़ कर दिनकर यथार्थ का परिज्ञान कराते हैं ;
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| 34. | प्रतिपादन द्वारा गर्भ विधान के परिज्ञान की प्रणाली एक प्रकार से स्थिर कर
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| 35. | प्रकृति परिज्ञान की उन्नति होने से ईधर जगतसम्बन्धी बहुत से गुप्त भेद खुल
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| 36. | यह परिज्ञान किस प्रकार का था, यह ठीक नहीं कहा जा सकता।
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| 37. | का परिज्ञान प्राप्त करना है जिनके अनुसार उदि्भद् या जंतु का शरीर मूलांड
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| 38. | नहीं हूँ, इस कारण इस विषय का परिज्ञान बिना उसके नहीं हो सकता,
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| 39. | पर जिस प्रकार हमें आजकल के प्रकृति सम्बन्धी परिज्ञान की उन्नति को देख
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| 40. | ऐतिहासिक सन्दर्भों में उपादेय अनेक तथ्यों का परिज्ञान भी आरण्यकों से होता है।
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