(10) भंडार घर पहले के गाँवों में हुआ करते थे भंडार घर भरे रहते थे अन्न से, धान से कलसे डगरे में धरे रहते थे आलू और प्याज गेहूं-चावल के बोरे और भूस की ढेरी में पकते हुए आम।
32.
पुष्य-नक्षत्र के दिन शंखपुष्पी की जड़ घर लाकर, इसे देव-प्रतिमाओं की भांति पूजें और तदंतर चांदी की डिब्बी में प्रतिष्ठित करके, उस डिब्बी को धन की पेटी, भंडार घर अथवा बक्स व तिजोरी में रख दें।
33.
बेशक, छोटे लकड़ी के टुकड़े के लिए और भंडार घर के अंदर में प्रदर्शित करने के लिए आप हमेशा मानकीकृत स्टील की दुकान स्थिरता अपने लकड़ी के भंडारण की जरूरत के लिए ठंडे बस्ते में डालने का चयन कर सकते हैं.