| 41. | के रूप में डाँट डपट और उग्र वचन तथा संचारी के रूप में अमर्ष मौजूद है।
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| 42. | घोर रोष व अमर्ष का विषय है इस तरह की घृणित राजनीति व संकुचित स्वार्थ!!
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| 43. | गंगाराम भी तुलसीराम की रत्नावली के समान पत्नी के मधुर कर्णप्रिय वचन सुनकर अमर्ष हो आया।
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| 44. | से भी यदि देखिए तो इस अमर्ष के द्वारा उनके राम प्रेम की जो व्यंजना हुई
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| 45. | इसी प्रकार दूसरा वाक्य विरहाकुल गोपी का वचन है जिससे कुछ विनोदमिश्रित अमर्ष व्यंजित होता है।
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| 46. | डांट खाई घाटियाँ तलाशती रहीं रुआंसी हो तमाम दोपहर, अमर्ष से भर-भर आयीं बार-बा र.
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| 47. | अमर्ष भरे स्वर में बोले हाँ, शिकार खेलने का इससे अच्छा और कौन अवसर मिलेगा!
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| 48. | लेकिन आज जाने क्या हुआ था, अमर्ष?... संझा के बेरा फूट फूट कर रो पड़े थे।
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| 49. | शत्रु द्वार पर आ गये-यह समाचार पाकर अमर्ष से भरे हुए असुर युद्ध के लिये निकल पड़े।
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| 50. | फिर वे भावनाएँ आनन्द की हो या दु: ख की, हर्ष की हो या अमर्ष की।
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