अगर डेयरी के दूध की अनुपलधता ह तो गाय का दूध कम से कम दो बार मलाइ निकाल कर लें याद रखें दही, लसी रायता सब दूध के ही विभि प ह।
42.
अदालत ने अजीज के अलावा बलूचिस्तान के पूर्व गर्वनर ओवैस अहमद गनी और पूर्व जिला समन्वय अधिकारी (डीसीओ) अब्दुल समद लसी को भगोड़ा घोषित कर अधिकारियों को उनकी संपत्ति जब्त करने का आदेश दिया।
43.
इकनोमिक टाइम्स लिखता है-प्राइवेट ट्रस्टों को भी ई. प ी. एफ. पर देना होगा साढ़े नौ प्रतिशत ब्याज, श्रम मंत्रालय के अनुसार एक फीसदी ज्यादा ब्याज नहीं देने पर ट्रस्ट से छूट वापस लसी जायेगी।
44.
हाय! वीरेन्द्र के पिती ने शादी करने के लिए कैसी-कैसी खुशामदें कीं, मगर दुष्ट क्रूर के बाप कुपथसिंह ने उसको ऐसा कुछ बस में कर रखा है कि कोई काम नहीं होने देता, और उधर कम्बख्त क्रूर अपनी ही लसी लगाना चाहता है।
45.
इससे पहले क्वेटा की आतंकवाद निरोधी अदालत ने सुनवाई के दौरान अदालत के समक्ष उपस्थित न होने के कारण जनरल मुशर्रफ, शौकत अजीज, पूर्व गर्वनर आेवैस गनी और डेरा बुगती के पूर्व उपायुक्त अब्दुल समद लसी के खिलाफ सोमवार को गैर जमानती वारंट जारी किया था।
46.
अभी थोड़ी सी जिंदगी बची है मुझमें शायद आँसू अब तक नही हुए सर्द आहों में सिमटा हुआ है अब तक दर्द साँसों में तेरी खुशबू अब तक है बसी धड़कन अब तक जुदाई में है लसी तुम्हारे प्यार की थोड़ी आस में जियूंगी अभी और मैं शायद |
47.
उन्होंने कविता को सार्थकता प्रदान की-बन राम रसायन की रसिका, रसना रसिकों की हुई सफला / अवगाहन मानस में करके, जनमानस का मल सारा टला / बनी पावन भाव की भूमि भली, हुआ भावुक भावुकता का भला / कविता करके तुलसी न लसे, कविता लसी पा तुलसी की कला।
48.
हाय! वीरेन्द्र के पिती ने शादी करने के लिए कैसी-कैसी खुशामदें कीं, मगर दुष्ट क्रूर के बाप कुपथसिंह ने उसको ऐसा कुछ बस में कर रखा है कि कोई काम नहीं होने देता, और उधर कम्बख्त क्रूर अपनी ही लसी लगाना चाहता है।'' एकाएक चपला ने चन्द्रकान्ता का हाथ पकड़कर जोर से दबाया मानो चुप रहने के लिए इशारा किया।
49.
महात्मा गांधी, नेल्सन मंडेला, दलाई लामा, मदर टेरेसा ये कुछ नाम ऐसे हैं जो भारत रत्न तो क्या नोबेल पुरस्कार से भी ऊपर हैं और किसी भी पुरस्कार का उनसे मान ही बढ़ता है जैसे इ तुलसीदास जी के लिखा गया है कि-'कविता कर के तुलसी ना लसे, कविता ही लसी पा तुलसी की कला' लेकिन या तो शायद मेरा सामान्यज्ञान कम है कि मैंने कहीं ये पढ़ा ही नहीं..
50.
पर अपुन का मानना है कि कुछ तो व्यक्तित्व (केवल चेहरा मोहरा ही नहीं) का असर पड़ता ही है-कविता कर के तुलसी ना लसे कविता पा लसी तुलसी की कला! पर मैं यह प्रलाप कर क्यों रहा हूँ?-मित्रों मैं अपने आक्रान्तता मोड से उबरना चाहता हूँ इसलिए अनाप शनाप बैठे ठाले ये प्रलाप किए जा रहा हूँ और आपको झेलना पड़ रहा है.