| 1. | -अब झूठ-मूठ ही दुखी होकर मत दिखा।
|
| 2. | फिर यों ही झूठ-मूठ में कह उठी-..
|
| 3. | कोई झूठ-मूठ की किंवदंती तो नहीं हूँ?
|
| 4. | फिर, झूठ-मूठ की आँखें सुजाये घूमते रहे।
|
| 5. | ' ' हम झूठ-मूठ का कुछ भी नहीं चाहते
|
| 6. | अच्छी तरह टूट मत झूठ-मूठ उफब मत रूठ
|
| 7. | गीली मेहँदी की खुशबू, झूठ-मूठ के शिकवे कुछ
|
| 8. | झूठ-मूठ के वादे भी सब याद करा दूं
|
| 9. | झूठ-मूठ ही हम गाते-' मूरख, खल, कामी' ।
|
| 10. | जिंदगी ऐसे घर में अपनी झूठ-मूठ गयी ||
|