| 1. | ढो रहे हैं माथे पर पंकिल पुरीष
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| 2. | मल, स्वेद, मूत्र एवं पुरीष
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| 3. | 4-मलों का आंकलन यथा पुरीष, मूत्र, स्वेद
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| 4. | तीन मल-मूत्र, पुरीष एवं स्वेद।
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| 5. | मल को पुरीष भी कहा जाता है।
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| 6. | 23. पीत विट्कता-(पुरीष का पीत होना)।
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| 7. | मल-आयुर्वेद मल तीन प्रकार के होतें हैं पुरीष मूत्र स् वेद
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| 8. | 33. भिलविट्कता-(पुरीष का द्रव रूप में आना)।
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| 9. | पुरीष में रुक्ष गुण वायु निकटता को बतलाने वाला है ।।
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| 10. | पुरीष शरीरगत वायु एवं अग्नि को भी धारण करता है ।।
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