कुछ अर्से बाद जैसे ही बिशारत ने अपने मामू की एग्जिमा की फुन्सियों पर इस अर्क़ की फुरेरी लगाई, तो बुर्जुगवार बिल्कुल नवजात बच्चे की तरह चीख़ें मारने लगे।
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कुछ अर्से बाद जैसे ही बिशारत ने अपने मामू की एग्जिमा की फुन्सियों पर इस अर्क़ की फुरेरी लगाई, तो बुर्जुगवार बिल्कुल नवजात बच्चे की तरह चीख़ें मारने लगे।
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पाक-ओ-हिंद के फ़न-ए-ताअमीर पर यूं तो गुज़शता दो सदीयों से काम हो रहा है लेकिन ये मुहक़्कक़ीन यूरोप से ताल्लुक रखते थे और उन की तमाम तर अर्क़ रेज़ी के बावजूद ये नुक्ता उन पर अयां ना हो सका कि वो हिंदूस्तानी फ़न-ए-ताअमीर को यूरोप के रवाईती क्लासिकी पैमानों से नाप रहे हैं।