| 1. | होता है. पीयूष ग्रंथि द्वारा उत्पन्न लूटीनाइजिंग अंत:स्राव और
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| 2. | है. पुटिका-उत्तेजक अंत:स्राव में वृद्धि का उद्देश्य ज्ञात नहीं है.
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| 3. | रजोनिवृत्ति के आस-पास छोटा होने लगता है. जब लुटिनाइजिंग अंत:स्राव का
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| 4. | इसमें अंत: स्राव या संश्लिष्ट अंत:स्राव द्वारा रोगों का निवारण होता है।
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| 5. | यह विभेदन आनुवंशिकता, अंत:स्राव तथा पर्यावरण आदि पर निर्भर करता है।
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| 6. | इसमें अंत: स्राव या संश्लिष्ट अंत:स्राव द्वारा रोगों का निवारण होता है।
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| 7. | चलकर, जैसे-जैसे इस अंत:स्राव का स्तर बढ़ता है,इन पुटिकाओं में से केवल
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| 8. | शुरू हो जाता है. इस समय पीयूष ग्रंथि पुटिका-उत्तेजक अंत:स्राव के उत्पादन
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| 9. | यह विभेदन आनुवंशिकता, अंत:स्राव तथा पर्यावरण आदि पर निर्भर करता है।
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| 10. | सफदर जंग अस्पताल के चिकित्सकों के अनुसार, उसके शरीर में रक्त का अंत:स्राव होने लगा है।
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