| 1. | परम तत्व हृ इस दर्शन की दृष्टि अद्वय
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| 2. | अद्वय का अर्थ है-द्वित्व भाव से रहित।
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| 3. | सच्चा ब्रहृम निर्विशेष, अद्वय और विशुद्ध है।
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| 4. | गुरू-पूर्णिमा के अद्वय प्रतीक को बारंबार नमस्कार!
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| 5. | परम तत्व द्वैतरहित या अद्वय है।
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| 6. | प्यारा सुंदर शुशील मनहर, अद्वय सा बालक उसने पाया
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| 7. | अद्वय आत्म को, विरला जगत
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| 8. | गुरू-पूर्णिमा के अद्वय प्रतीक को बारंबार नमस्कार! हृदयनारायण दीक्षित
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| 9. | ये समस्त कोटियाँ विकल्पों से अस्पष्ट भेदहीन अद्वय तत्व हैं।
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| 10. | वह अद्वय है यानी उसके अतिरिक्त दूसरा कोई नहीं है ।
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