| 1. | इस दर को अवकलज () कहते हैं ।
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| 2. | के लिये पहला अवकलज शून्य होना चाहिये।
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| 3. | किसी व्यंजक या फलन का अवकलज निकालना अवकलन (
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| 4. | नीचे बहुत से फलनों के अवकलज (
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| 5. | 2. 2 लघुगणकीय फलनों के अवकलज (
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| 6. | के सन्दर्भ में अवकलज कहते हैं।
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| 7. | कहते हैं तथा इस क्रिया द्वारा प्राप्त दर को अवकलज (
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| 8. | जानने के लिये उस बिन्दु पर अवकलज की गणना करनी पड़ती है।
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| 9. | उस स्पर्शरेखा के उपर स्थित कोई भी बिन्दु हैं, और अवकलज (
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| 10. | नीचे बहुत से फलनों के अवकलज (differentials) या अवकल गुणांक दिए गये हैं।
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