उपयोग-मूल्य, एंगेल्स, पूंजीवादी उत्पादन प्रक्रिया, विनिमय-मूल्य, श्रम-विभाजन, श्रम-शक्ति
2.
वह उसके उपयोग-मूल्य को स्वीकार ही नहीं करता।
3.
यह कार्य वह उपयोग-मूल्य का वायदा करके करता है।
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उपयोग-मूल्य, पूंजीवादी उत्पादन प्रक्रिया, मानव-श्रम, विनिमय-मूल्य
5.
उपयोग-मूल्य, एंगेल्स, द्रव्य-रूप, मानव-श्रम, मार्क्स, विनिमय-मूल्य, श्रम-शक्ति, समतुल्य-रूप, सामाजिक संबंध
6.
लेकिन हमारी श्रम-शक्ति का उपयोग-मूल्य ऐसा है कि यह मूल्य सृजित कर सकता है.
7.
उपयोग-मूल्य की पुनरावृत्ति है इससे उपभोक्ता चक्कर में फंस जाता है, इससे ग्राहक की प्रतिरोध क्षमता खत्म हो जाती है।
8.
उपयोग-मूल्य द्रव्य पण्य पण्यों का रूप विनिमय-मूल्य पण्य दुनिया में उपयोग-मूल्यों, वस्तुओं अथवा जिंसों के रूप में आते हैं, जैसे लोहा, कपड़ा, अनाज, इत्यादि.
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मार्क्स के अनुसार मशीन शिल्पकारों, कारीगरों के साथ स्पर्धा में रहती है, और इस प्रकार वह श्रम-शक्ति के उपयोग-मूल्य में गिरावट का कारण बनती हैं.
10.
उपयोग-मूल्य, द्रव्य, पण्य, पण्यों का रूप, विनिमय-मूल्य पण्यों में निहित श्रम का दोहरा स्वरूप पहली दृष्टि में पण्य दो चीजों-उपयोग-मूल्य और विनिमय मूल्य-के संश्लेष के रूप में हमारे सामने आया था.