21 सितंबर, 1857 के बाद ब्रिटिश प्रतिहिंसा ने क्रांति-विरोधी आतंक का रूप धारण कर लिया।
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इतना ही नहीं, गांधीजी को ' क्रांति-विरोधी तथा ब्रिटीश उपनिवेशवाद का रक्षक ' बतलाया।
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21 सितंबर, 1857 के बाद ब्रिटिश प्रतिहिंसा ने क्रांति-विरोधी आतंक का रूप धारण कर लिया।
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जैसा कि छद्म क्रांतिकारियों के साथ हमेशा होता आया है, उनका गठबंधन चाहे अनचाहे क्रांति-विरोधी ताकतों के साथ बन ही जाता है ।
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तभी से किसानों को ‘ कुलक ‘ कहकर मार्क्सवादी दुनिया में तुच्छ नजरों से देखा जाता है और आम तौर पर, उन्हें क्रांति-विरोधी माना जाता है ।
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तभी से किसानों को ' कुलक ' कहकर मार्क्सवादी दुनिया में तुच्छ नजरों से देखा जाता है और आम तौर पर, उन्हें क्रांति-विरोधी माना जाता है ।
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तभी से किसानों को ' कुलक ' कहकर मार्क्सवादी दुनिया में तुच्छ नजरों से देखा जाता है और आम तौर पर, उन्हें क्रांति-विरोधी माना जाता है ।
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तभी से किसानों को ' कुलक ' कहकर मार्क्सवादी दुनिया में तुच्छ नजरों से देखा जाता है और आम तौर पर, उन्हें क्रांति-विरोधी माना जाता है ।
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अज्ञेय अंग्रेजों के लिए फ़ौज में लड़े तथा क्रांति-विरोधी ही नहीं, क्रांति को अपमानित करने वाला लेखन करते रहे. उनके घोषित साम्यवाद-विरोध से खुश होकर अमरीकी साम्राज्यवादियों ने बार-बार उन्हें अपने यहां बुलाकर विभिन्न पदों पर रख कर पुरस्कृत किया है.
10.
कुछ संकल्प ट्रेड यूनियन चलाने वालों को भी लेने ही चाहिए, साथी! ऐतिहासिक रूप से एक अत्यंत सबल-समर्थ मज़दूर आन्दोलन को पटरी पर से उतार देने की अपनी क्रांति-विरोधी भूमिका के भीतर भी झांकना चाहि ए. आत्मालोचन इतना गैर-ज़रूरी उपकरण यों ही नहीं बन गया है.