| 1. | तीन संघटनात्मक प्रकारों के अलग-अलग मनोभाव होते हैं ।
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| 2. | जाते हैं कि व्यक्ति किस संघटनात्मक प्रकार का है तो हम यह
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| 3. | इस दृष्टि से भाषा वर्णन-विश्लेषण की जिन पद्धतियों काविकास हुआ वे संरचनात्मक / संघटनात्मक पद्धतियां कहलाती हैं.
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| 4. | उसका मुख्य काम दबाव या जोर जबरदस्ती नहीं वरन् संघटनात्मक तथा शिक्षण संबंधी कार्य है।
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| 5. | उसका मुख्य काम दबाव या जोर जबरदस्ती नहीं वरन् संघटनात्मक तथा शिक्षण संबंधी कार्य है।
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| 6. | उसका मुख्य काम दबाव या जोर जबरदस्ती नहीं वरन् संघटनात्मक तथा शिक्षण संबंधी कार्य है।
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| 7. | उसका मुख्य काम दबाव या जोर जबरदस्ती नहीं वरन् संघटनात्मक तथा शिक्षण संबंधी कार्य है।
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| 8. | उसका मुख्य काम दबाव या जोर जबरदस्ती नहीं वरन् संघटनात्मक तथा शिक्षण संबंधी कार्य है।
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| 9. | पूरे जीवन-काल में दो अन्य प्रतिक्रियाओं के प्रति एक प्रतिक्रिया से संघटनात्मक प्रकार प्राप्त होता है
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| 10. | संघटनात्मक गण ही वास्तविक गण है और जैन ग्रंथकार की दृष्टि में वब मन से युक्त होता है।
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