साबुनीकरण के लिए कभी-कभी बहते हुए पदार्थों से ओंगन और तेल को निकाल लिया जाता है.
2.
साबुन और वसा अम्लों के निर्माण में तेल और वसा का साबुनीकरण से उपजात के रूप में ग्लिसरिन प्राप्त हो सकता है।
3.
साबुन और वसा अम्लों के निर्माण में तेल और वसा का साबुनीकरण से उपजात के रूप में ग्लिसरिन प्राप्त हो सकता है।
4.
ग्लाइसिडिक ऐस्टरों के साबुनीकरण से एथिलीन क्साइड श्रेणी केसंगत कार्बोक्सिलिक अम्ल बनते हैं जो छौ२ के निकल जाने पर ऐल्डिहाइड या कीटोनउत्पन्न करते हैं.
5.
तेल और वसा के साबुनीकरण द्वारा साबुन के निर्माण में उपजात के रूप में एक जलीय विलयन प्राप्त होता है, जिसे “मीठा जल” कहते हैं।
6.
तेल और वसा के साबुनीकरण द्वारा साबुन के निर्माण में उपजात के रूप में एक जलीय विलयन प्राप्त होता है, जिसे “मीठा जल” कहते हैं।
7.
जलीय विश्लेषण द्वारा या साबुनीकरण की बुनियादी शर्तों के तहत तेल और वसा के विभाजन से ग्लिसरीन (ग्लिसरॉल) के साथ वसा अम्लों का एक गौण-उत्पाद प्राप्त होता है.
8.
जलीय विश्लेषण द्वारा या साबुनीकरण की बुनियादी शर्तों के तहत तेल और वसा के विभाजन से ग्लिसरीन (ग्लिसरॉल) के साथ वसा अम्लों का एक गौण-उत्पाद प्राप्त होता है.
9.
साबुनीकरण की क्रिया में वनस्पति तेल या वसा एवं कास्टिक सोडा या कास्टिक पोटाश के जलीय घोल को गर्म करके रासायनिक प्रतिक्रिया के द्वारा साबुन का निर्माण होता तथा ग्लीसराल मुक्त होता है।
10.
साबुनीकरण की क्रिया में वनस्पति तेल या वसा एवं कास्टिक सोडा या कास्टिक पोटाश के जलीय घोल को गर्म करके रासायनिक प्रतिक्रिया के द्वारा साबुन का निर्माण होता तथा ग्लीसराल मुक्त होता है।