| 1. | से स्पर्शीय दिशा में झुके रहते हैं।
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| 2. | की स्पर्शीय दिशा में अरे लगाने का रिवाज है।
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| 3. | गति कटिका के साथ संसर्ग में टेंपलेट पर स्पर्शीय हो।
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| 4. | स्पर्शीय अरे, पहिए के घेरे (
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| 5. | पहियों में आजकल नाभि (hub) की स्पर्शीय दिशा में अरे लगाने का रिवाज है।
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| 6. | दाँत, जीभ और तालु की स्पर्शीय क्रियाओं से चप्-चप् ध्वनि निकलती है, हप् हप् नहीं।
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| 7. | यह एक स्पर्शीय फंफूदनाशक जों पक्षियों व कुतरकर खाने वालें जानवरों से बचाने वाला ।
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| 8. | स्पर्शीय अरे, पहिए के घेरे (rim) पर भ्रामक बल भली प्रकार से डाल सकते हैं।
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| 9. | प्रत्येक दो आसन्न अरे कैचीनुमा लगकर, हब की फ्लैज (flange) से स्पर्शीय दिशा में झुके रहते हैं।
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| 10. | दाँत, जीभ और तालु की स्पर्शीय क्रियाओं से चप्-चप् ध्वनि निकलती है, हप् हप् नहीं।
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