हाक्स, कपोट, नैबाकोव एवं ओंकॉनर के कुछ उपन्यासों में विरूपी पिशाच भी यही भूमिका अदा करते हैं।
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हाक्स, कपोट, नैबाकोव एवं ओंकॉनर के कुछ उपन्यासों में विरूपी पिशाच भी यही भूमिका अदा करते हैं।
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हवा! कटारी चित्राकृतियाँ नराधम नरपिशाचों की अबोध वध कितने बाल कंकाल विरूपी रसायन लीपा पोती इंटेलीजेंस निठारी! निठारी! निठारी!
4.
अपने सपनों की दुनियाँ में बंद विरूपी पात्र समाज का संत्रस्त शिकार होने पर शैतान के रूप में परिणत हो जाता है एवं समाज की सारी ही सामान्य मान्यताओं पर आघात करता है।
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अपने सपनों की दुनियाँ में बंद विरूपी पात्र समाज का संत्रस्त शिकार होने पर शैतान के रूप में परिणत हो जाता है एवं समाज की सारी ही सामान्य मान्यताओं पर आघात करता है।