| 1. | भोगवाद और दैहिक विषयासक्ति का संसार नहीं है।
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| 2. | विषयासक्ति की निवृति, वाणी में मृदु स्वर मृदुलता.
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| 3. | हों बाह्य विषयासक्ति निवृति और सत्य स्थापन करें
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| 4. | विषयासक्ति में व्यक्ति अंधा बन जाता है!
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| 5. | विषयासक्ति से ना मुक्त हो पाता हूँ
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| 6. | जिसकी विषयासक्ति जलकर ख़ाक हो गई है,
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| 7. | विषयासक्ति व्यक्ति को बहुत अधिक गिरा देती है!
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| 8. | इंद्रियासक्ति और विषयासक्ति से समेट लें हम।
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| 9. | हम अत्यधिक विषयासक्ति के दुष्परिणामों से बच नहीं सकते ।
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| 10. | यदि विषयों को हम न भोगें पर विषयासक्ति नहीं जाये
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